राकेश गुप्ता (संवाददाता)
सोनभद्र (दुद्धी) मंगलवार को सिविल बार सभागार में सिविल बार एसोसिएशन की एक आवश्यक बैठक हुई। बैठक में एडीजे कोर्ट, न्यायालय में व्याप्त अनियमितता तथा भ्रष्टाचार सहित एसडीएम कोर्ट के बहिष्कार मुद्दे पर विस्तार से चर्चा हुई। अधिकांश अधिवक्ताओं वादकारी हित को ध्यान में रखते हुए न्यायिक कार्य जारी रखने का समर्थन किया और कहा कि वादकारी हित को प्राथमिकता में रखते हुए न्यायालयों में हो रहीं अनियमितता को लेकर एक बार वार्ता कर उन्हें अवगत करा दिया जाय। बताया गया कि एसडीएम कोर्ट, तहसीलदार कोर्ट सहित तहसील के अन्य न्यायालयों में पेशकारों एवं बाबुओ सहित अन्य कर्मचारियों द्वारा अनियमितता बरती जा रहीं है, जिससे अधिवक्ताओं सहित वादकारियों तक को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। कर्मचारियों की मनमानी के कारण जिम्मेदार अधिकारियों को भी अधिवक्ताओं की नाराजगी झेलनी पड़ती हैं। कुछ अधिवक्ताओं के निजी कार्य को लेकर भी बाबुओ, पेशकारों तथा राजस्व निरीक्षक व लेखपालों द्वारा नजराना लिए जाने को लेकर आक्रोश व्यक्त किया गया और इस मुद्दे से एसडीएम व तहसीलदार को अवगत कराने पर सहमति बनी। इसके अलावा बार हित में फैसले लेने और कम से कम हड़ताल पर जाने या न्यायिक कार्य से विरत रहने पर सहमति जतायी गई।
बैठक के बाद चेयरमैन नागेंद्र कुमार श्रीवास्तव, वरिष्ठ उपाध्यक्ष संतोष कुमार, सचिव रामेश्वर राव की अगुवाई में एक प्रतिनिधि मंडल एसडीएम से मिलकर कार्यालयों एवं न्यायालयों की विसंगतियों से अवगत कराया। सभी बातों को सुनने के एसडीएम सुरेश राय ने प्रतिनिधि मंडल को भरोसा दिलाया कि एक सप्ताह के अन्दर सभी विसंगतियों को दूर कर लिया जायेगा। उन्होंने कहा कि सभी कार्यालयों एवं न्यायालयों में तैनात बाबुओं एवं पेशकारों को सख्त हिदायत दी गई हैं कि एक सप्ताह के अन्दर सुधार नहीं हुआ तो कार्यवाही सुनिश्चित कर दी जाएगी।
बैठक में मुख्य रूप से पूर्व अध्यक्ष नंदलाल, प्रभु सिंह तथा सत्यनारायण यादव,मनोज मिश्रा, राकेश श्रीवास्तव, अमिताभ जायसवाल, अंजनी यादव,रामजी पाण्डेय, रेणुवंती,विष्णुकांत तिवारी, शिवशंकर प्रसाद, सुखसागर यादव, आशीष गुप्ता, अभिनाथ यादव, नीरज, आदर्श सहित अन्य अधिवक्ता गण मौजूद रहे। बैठक का संचालन सचिव रामेश्वर प्रसाद राव ने किया।

Author: Pramod Gupta
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