– टैंकर से पानी बटवा कर अपनी पीठ थपथपा रही नगर पालिका
सोनभद्र। नगर पालिका परिषद रॉबर्ट्सगंज द्वारा विस्तारित क्षेत्र छपका मे पेयजल के लिए पांच हजार लीटर की टंकी लगायी गई जो फिलहाल शोपिस बनकर रह गई है। और वहां रहने वालों को पहले की तरह टैंकर के भरोसे रहना पड़ रहा है। नगर पालिका परिषद रॉबर्ट्सगंज का वार्ड नं दो छपका मोहाल ड्राई एरिया है जहाँ हमेशा पानी की समस्या रहती है। गर्मियों के दिनों मे तो यहां के लोग पानी के टैंकर के भरोसे रहते है। यहां के लोगों की परेशानियों को देखते हुए नगर पालिका परिषद द्वारा वित्तीय वर्ष 2024-25 मे 15वॉ वित्त (टाइड ग्रांट) मद से वार्ड नं दो छपका मोहाल मे रामसनेही के घर के पास पांच हजार लीटर की टंकी लगाई गई।
जिसके लिए पास मे पूर्व मे लगे हैंड पम्प मे मोटर लगाया गया साथ ही आस पास कुछ दुरी पर कनेक्शन भी कर दिया गया। टंकी के चालु होने से जो यहां के रहवासी टैंकर के भरोसे पेयजल हेतु पानी की व्यवस्था करते थे उनके ख़ुशी का ठिकाना नही रहा। लेकिन उनकी ख़ुशी ज्यादा दिनों तक नही रही। जैसे ही गर्मी बढ़ने लगी पानी का लेवल निचे जाने लगा और टंकी मे पानी का लेवल भी। नतीजा यह हुआ की टंकी लगे एक साल भी नही हुए और मोटर स्टार्टर सब खराब हो गया। और यहां के लोग फिर से टैंकर के सहारे हो गये। सोचने वाली बात यह है की ज़ब इतना खर्च कर टंकी लगाई गई तो बोरिंग नया क्यों नही कराया गया यह जानते हुए की पुराने बोरिंग मे पानी का लेवल गर्मियों मे निचे हो जाता है।
यहां रहने वाले भोला ने बताया की पुराने हैंड पम्प की बोरिंग 195 फिट थी जिसकी बिना सफाई किये मोटर लगाया गया जो सौ फिट तक ही गया। जिससे पानी का लेवल कम होने पर लगने के कुछ ही महीनो बाद मोटर स्टर्टर खराब हो गया जो बनाने के लिए लें गए है लेकिन पुरे गर्मी बीतने को है और अभी तक यह बन ना सका। भोला ने बताया की इसकी शिकायत की गई तो कहा गया की टैंकर जा रहा है उसी से काम चलाओ।
अब सवाल यह उठता है की यह जानते हुए की यह एरिया ड्राई एरिया है तो यहां नई बोरिंग क्यों नही कराई गई और यदि पुराने बोरिंग मे ही मोटर लगाना था तो पहले उसकी जांच क्यों नही की गई। इसमें टंकी लगाने वाले ठेकेदार की गलती है या नगर पालिका की या दोनों की मिलीभगत। ज़ब टैंकर के भरोसे ही रहना था तो टंकी क्यों लगवाया गया। जिला प्रशासन इसकी जांच कराये कि इसमें किसकी लापरवाही है जिसका खामियाजा जनता को भुगतना पड़ रहा है।

Author: Pramod Gupta
Hello